बिलकुल सही!जो देश अपनी - TopicsExpress



          

बिलकुल सही!जो देश अपनी मात्रभाषा का प्रयोग करते है वो विकसित है और जो विदेशी भाषा का प्रयोग करते है वह विकासशील या अविकसित है . किसी विषय के मूल को मात्रभाषा में जितनी अच्छी तरह समझा जा सकता है वोह किसी दूसरी भाषा में नहीं और इसीलिए हम एप्पल और गूगल जैसी कम्पनीज नहीं बना पाए .आईटी में भी निचले स्तर के ही काम कर रहे है. बच्चों को अंग्रेजी में रटाते है "वी शुड नॉट लिटर" पर उसका भावार्थ नहीं समझा पाते और शायद इन कारणों से सामाजिक विसंगतिया जिस तरह हमारे देश में फ़ैल रही है वोह किसी विकसित देश में नहीं . जिसे अंग्रेजी नहीं आती उसे अपने ही देश में गवार समझा जाता है ! सभी के बच्चे अंग्रेजी माध्यम में इसलिए पड़ रहे है क्योकि कांग्रेस ने इतने सालो में उसे जरूरी बना दिया है और अब सबकी मजबूरी है .अंग्रेजी में केंद्रीय विद्यालय खोलने के बजाय शायद देश की अन्य भाषाओ में जगह जगह केंद्र सरकार ने विद्यालय खोले होते तो स्थिति अलग होती .उदाहरण के लिए मुंबई में तमिल , मलयालम , असमी भाषा के विद्यालय अगर होते और उच्च विद्या के क्षेत्र में हमने इन भाषाओं में किताबों को अनुवादित किया होता तो हमने शायद ज्यादा प्रगति की होती .अंग्रेजी को वार्तालाप के लिए सीखा जाना चाहिए , उसमे कोई बुराई नहीं . और भी... aajtak.intoday.in/story/english-language-hurts-india-says-rajnath-singh-1-736471.html
Posted on: Fri, 19 Jul 2013 03:07:34 +0000

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