हिंदी दिवस : बाँट दिया दो बहनों को. यहाँ तक कि धर्म भी घुस गया हिंदी उर्दू में. मैं जो लिखता हूँ उस पर कुछ लोग कहते है उर्दू बहुत इस्तेमाल करते हो ..मैं हिंदी ही लिखता हूँ. और उर्दू के शब्द हिंदी का अभिन्न हिस्सा हैं. मीर तक़ी सिर्फ उर्दू के शायर ???? क्या जानूं लोग कहते हैं किसको सुरूर-ए-क़ल्ब आया नहीं है लफ्ज़ यह हिंदी जुबां के बीच -------------------------------------------------- अरे मीर साहब आप भी और आप ही.... हम न कहते थे कहीं ज़ुल्फ़ कहीं रुख न दिखा इक खिलाफ़ आया न हिंदू-ओ-मुसलमान के बीच
Posted on: Sat, 14 Sep 2013 07:05:00 +0000
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